सचिव संघ के शासकीयकरण की मांग जायज। जनता कांग्रेस जे के नेता नरेंद्र सोनी का समर्थनखैरागढ़। शासकीयकरण की मांग को लेकर हड़ताल पर बैठे पंचायत सचिव संघ के समर्थन में पहुंचे जनता कांग्रेस जे के पूर्व विधानसभा प्रत्याशी नरेंद्र सोनी ने कहा कि सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय के उद्देश्य को लेकर सरकार में आने के लिए कोई भी दल अपना जन घोषणापत्र बनाती है और घोषणा पत्र के आधार पर जनता सरकार बनाती है जिसके अमल होने पर की सरकार की विश्वसनीयता बनती है लेकिन जब जन घोषणा पत्र को अमल नहीं किया जाता तो सरकार के विरोध में माहौल बनता है सत्ता पक्ष के द्वारा कोई सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं आई है आज सचिव संघ के द्वारा 18वे दिन से जारी शासकीयकरण की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल के धरना स्थल पर पहुंचकर नरेंद्र सोनी व साथियों के द्वारा समर्थन दिया गया सोनी ने कहा न्याय में देरी अन्याय के समान होता है ऐसे में समय रहते हुए सचिव संघ के साथ न्याय होना चाहिए उन्हें 2 वर्ष के परिवीक्षा के दौरान शासकीयकरण किया जाना चाहिए क्योंकि त्रिस्तरीय पंचायती राज व्यवस्था में जब जिला और जनपद पंचायत में कर्मचारी शासकीयकरण का फायदा ले रहे हैं तो ग्राम पंचायत के सचिवों को शासकीयकरण से वंचित क्यों रखा गया है जबकि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी एवं पंचायत मंत्री द्वारा के द्वारा सचिव संघ को शासकीय करण करने हेतु आश्वस्त किया गया था कि सचिवों को शासकीयकरण का फायदा मिलेगा लेकिन आज वर्तमान तक सत्ता के 4 साल बीत जाने के बाद भी सचिवों को शासकीय करण का फायदा नहीं मिला जिससे सरकार की कथनी और करनी में अंतर दिखाई दे रहा है युवा नेता नरेंद्र सोनी ने आगे सरकार से निवेदन करते हुए कहा कि सचिव संघ की मांग जायज है पूरा होना चाहिए क्योंकि यही सचिव राज्य सरकार और केंद्र सरकार 29 विभाग के 200 प्रकार के कार्यों को कुशलतापूर्वक करते हैं लेकिन आज वर्तमान स्थिति पंचायतों में डगमगा चुकी है मनरेगा नरवा गरवा घुरवा बारी जैसे महत्वकांक्षी सारी योजनाएं समय पर पूरा नहीं हो पा रही है अगर समय में सचिव संघ के द्वारा शासकीयकरण के मांग को पूरा नहीं किया जाता तो सचिव संघ के समर्थन में जनता कांग्रेस जे के प्रदेश अध्यक्ष अमित जोगी के नेतृत्व में प्रदेश स्तर पर सड़क की लड़ाई लड़ेंगे और भूख हड़ताल के लिए बाध्य रहेंगे धरना स्थल पर समर्थन देने मुख्य रूप से जनता कांग्रेस के कार्यकर्ता सुरेंद्र सिंह सेंगर विजय सिंह राजपूत संतोष सिंह लक्ष्मण डेहरे राजकुमार उपस्थित थे।