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खैरागढ़ की पुत्री शाला में यादों का मेला ,50 साल बाद मिलीं छात्राएं, गीत गुनगुनाए, झूले झूले और साझा किए स्कूल के सुनहरे पल

खैरागढ़ की पुत्री शाला में यादों का मेला

 

50 साल बाद मिलीं छात्राएं, गीत गुनगुनाए, झूले झूले और साझा किए स्कूल के सुनहरे पल

 

खैरागढ़ 00 किसी ने पुरानी तस्वीरें देखीं तो आंखें नम हो गईं, कोई बरसों बाद अपने सहपाठियों को गले लगाकर भावुक हो उठा। किसी के चेहरे पर मुस्कान थी तो किसी की आंखों में अपनापन छलक रहा था। मौका था शासकीय कन्या शाला खैरागढ़ में आयोजित शताब्दी वर्ष पूर्व भूतपूर्व छात्रा सम्मेलन यानी एल्युमिनी मीट का।1927 में ‘पुत्री शाला’ के नाम से स्थापित यह विद्यालय अब अपने 100वें वर्ष (2027) की ओर अग्रसर है। इस ऐतिहासिक पड़ाव से पहले विद्यालय प्रबंधन ने तय किया कि पूर्व छात्राओं को एक मंच पर बुलाया जाए ताकि वे अपने पुराने दिनों को फिर से जी सकें।

 

 

 

पुरानी यादों में खो गईं छात्राएं

 

 

 

रविवार को आयोजित इस कार्यक्रम में 1973 के पहले और बाद की सैकड़ों छात्राएं शामिल हुईं। कोई छत्तीसगढ़ के किसी कोने से आई तो कोई देश के दूसरे राज्यों से पहुँची।कार्यक्रम में पुराने गीतों की धुनों पर छात्राएं झूमती रहीं। किसी ने झूलों का आनंद लिया तो कोई स्कूल के प्रांगण में घूम-घूमकर अपने बीते दिनों को याद करती रही। दिनभर चली इस एल्युमिनी मीट में खेल-कूद, सांस्कृतिक कार्यक्रम और आनंद मेले का आयोजन किया गया। यादों की डायरी पर अपने अपने विचार उल्लेखित किए l पुराने तस्वीरों को बारीकी से देखकर भाव विभोर हुए l इस अवसर रस्सी खींच, कुर्सी दौड़ एवं मटकी फोड़ का आयोजन हुआ अपने अनुभव बाटे तथा ग्रुप मे ताजे तस्वीरें लिए l स्वादिष्ट व्यंजनों की खुशबू और हंसी-ठिठोली ने माहौल को खुशनुमा बना दिया। स्कूली छात्राओं की स्टाल में विभिन्न प्रकार के गुपचुप समोसे मोमोस , कचौड़ी, दबेली , पान आदि का आनंद उठाए l

 

 

 

सांसद पांडे बोले – आत्मनिर्भर नारी ही सशक्त भारत की पहचान

 

 

 

समापन सत्र के मुख्य अतिथि राजनांदगांव संसदीय क्षेत्र के सांसद श्री संतोष पांडे ने इस ऐतिहासिक आयोजन को विद्यालय और क्षेत्र के लिए गौरवपूर्ण बताया।

 

 

 

उन्होंने कहा —आत्मनिर्भर नारी शक्ति ही सशक्त राष्ट्र की पहचान है। वर्षों बाद एक स्थल पर सभी छात्राओं का एकत्र होना केवल यादों का पुनर्मिलन नहीं है, बल्कि यह आने वाली पीढ़ी के लिए प्रेरणा है कि शिक्षा के बल पर नारी जीवन में हर सफलता हासिल कर सकती है।”उपस्थित जनों से शिक्षा के साथ-साथ स्वास्थ्य के प्रति जागरूक रहने की अपील की। इस अवसर पर उन्होंने ‘स्वस्थ नारी, सशक्त परिवार अभियान’ के तहत आयोजित स्वास्थ्य दिवस शिविर का भी अवलोकन किया। सांसद ने कहा कि हर परिवार तब मजबूत बनता है जब घर की महिलाएं स्वस्थ और शिक्षित हों।इस अवसर को जिला पंचायत उपाध्यक्ष विक्रांत सिंह, भारतीय रेडक्रॉस सोसाइटी जिला शाखा उपाध्यक्ष एवं सांसद प्रतिनिधि भागवत शरण सिंह, प्राचार्य डॉ. कमलेश्वर सिंह ने भी संबोधित किया।

 

 

 

21 कन्याओं का पूजन कर दी गईं शुभकामनाएं

 

 

 

नवरात्र पर्व के अवसर पर विद्यालय परिसर में प्राथमिक वर्ग की 21 कन्याओं का पूजन कर उन्हें उपहार दिए गए। कन्या वंदन और पूजन की इस परंपरा ने कार्यक्रम में धार्मिक और सांस्कृतिक गरिमा जोड़ दी।

 

 

 

गणमान्य जनों की रही गरिमामयी उपस्थिति

 

 

 

जिला पंचायत अध्यक्ष प्रतिनिधि खम्हन ताम्रकार, जिला पंचायत सभापति ललित चोपड़ा, राज्य शिक्षा स्थायी समिति सदस्य नरेंद्र सिंह राजपूत, संस्था अध्यक्ष आलोक श्रीवास,समाजसेवी अशोक जैन,विकेश गुप्ता, शशांक ताम्रकार, डॉ. शैलेन्द्र त्रिपाठी, शैलेन्द्र मिश्रा, ऋषभ सिंह, आयश सिंह, नंद चंद्राकर, नीलिमा गोस्वामी, महेश गिरी गोस्वामी सहित बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधि,शिक्षक व पूर्व छात्राएं मौजूद रहीं।

 

 

 

शताब्दी समारोह की तैयारी शुरू

 

 

 

विद्यालय प्रबंधन समिति अब 2027 में विद्यालय के शताब्दी वर्ष समारोह को भव्य स्वरूप देने की तैयारी में जुट गई है।कार्यक्रम के अंत में सभी पूर्व छात्राओं ने एकजुट होकर यह संकल्प लिया कि वे विद्यालय के विकास में हरसंभव सहयोग करेंगी, ताकि आने वाली पीढ़ी भी उसी गर्व के साथ कह सके — “हम भी इस पुत्री शाला की छात्रा हैं।”

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